भड़ोखर की हवेली संरचना का किया अवलोकन
संवाददाता- आशीष उपाध्याय

टहरौली (झांसी)- इक्रीसैट के कार्य को देखने कई देशों के वैज्ञानिक अब तहसील टहरौली का रुख कर रहे हैं। उत्तरी अफ्रीका के देश मोरक्को से आये वैज्ञानिकों के एक प्रतिनिधि मण्डल ने तहसील टहरौली के ग्राम भड़ोखर में हवेली संरचना देखी।विभिन्न संस्थाओं के वैज्ञानिकों ने ग्राम सुट्टा एवं सिंगार तथा ललितपुर के पूरा बिर्धा क्षेत्र का भ्रमण भी किया।इक्रीसेट, हैदराबाद एवं कृषि विभाग उ.प्र. के संयुक्त तत्त्वधान में वर्षा जल को संरक्षित कर इसका संचयन, प्रबंधन एवं फसल उत्पादन इत्यादि के कार्य किये जा रहे हैं इनका अफ्रीकन प्लांट नुट्रिशन इंस्टिट्यूट के वैज्ञानिकों ने भ्रमण किया। मोरक्को की भौगोलिक दशा एवं पानी की कमी एवं यहां की अन्य समानताओं को देखते हुए इसी प्रकार का मॉडल इक्रीसेट के सहयोग से विकसित करने के उद्देश्य से इक्रीसेट के वैज्ञानिकों के साथ विस्तृत चर्चा भी हुई। इस भ्रमण में अफ्रीकन प्लांट नुट्रिशन इंस्टिट्यूट के 9 सदस्य डॉ कौशिक मजूमदार, डॉ शमी ज़िंगोर, डॉ हकीम बोलाल, इंतिसार मोमेन, डॉ सिफेदिन रफीक, डॉ जेम्स तथा इक्रीसेट की ओर से डॉ ऍम एल जाट, डॉ रमेश सिंह, डॉ अनन्ता, अनुषा गोर्थी, आर के उत्तम, डॉ अशोक शुक्ला, राजेंद्र सिंह, ललित पटेल, शिशुवेंद्र, सुनील, ई. दीपक, ई. ललित किशोर,शैलेन्द्र इत्यादि उपस्थित रहे। भ्रमण के दौरान स्थानीय किसानों ने भी मोरक्को से आये वैज्ञानिकों के साथ अपने विचार साझा किये एवं साथ ही इक्रीसेट द्वारा किये गए कार्यों से हुए लाभ के विषय में भी बताया। इस मौके पर राज्यमंत्री हरगोविंद कुशवाहा, प्राकृतिक संसाधन समिति के अध्यक्ष आशीष उपाध्याय, रजनी गौतम सदस्य जिला पंचायत बघेरा, पुष्पेन्द्र सिंह बुंदेला, इंद्रपाल बुंदेला गाता, दीनदयाल पटेल, रामकुमार देवपुरिया, शत्रुघ्न बुंदेला, रामप्रकाश पटेल आदि भी उपस्थित रहे।
